यशस्वी ने ऐसा क्या किया... पृथ्वी शॉ कैसे रह गए फ्लॉप, बचपन के कोच ने बताया

29 NOV 2024

Credit: Getty/Social Media

टीम इंडिया के स्टार क्रिकेटर पृथ्वी शॉ इस समय काफी सुर्खियों में हैं. पृथ्वी शॉ को इस बार मेगा ऑक्शन में किसी ने नहीं खरीदा. 

आईपीएल नीलामी से पहले दिल्ली कैपिटल्स ने उन्हें रिलीज कर दिया था. पृथ्वी शॉ 75 लाख रुपये बेस प्राइस के साथ ऑक्शन में उतरे थे. 

25 वर्षीय पृथ्वी की तुलना सचिन तेंदुलकर, वीरेंद्र सहवाग और ब्रायन लारा जैसे दिग्गजों से होती थी, लेकिन उनका करियर अब पटरी से उतरता दिख रहा है.

पृथ्वी शॉ के कोच रहे ज्वाला सिंह ने भी उनकी फॉर्म पर बड़ा बयान दिया. ज्वाला सिंह ने एक पॉडकास्ट में बताया कि पृथ्वी अब सफल क्यों नहीं हो पा रहे हैं.

ज्वाला सिंह के मुताबिक पृथ्वी शॉ में निरतंरता का अभाव दिख रहा है. ज्वाला टीम इंडिया के ओपनर यशस्वी जायसवाल के भी कोच रहे हैं, जो इस समय इंटरनेशनल क्रिकेट में धूम मचा रहे हैं.

ज्वाला सिंह ने एक पॉडकास्ट में कहा, 'पृथ्वी 2015 में मेरे पास आया और तीन साल तक मेरे साथ रहा. तब उसने अंडर-16 मैच भी नहीं खेले थे. उसके पिता ने मुझे उसका मार्गदर्शन करने के लिए कहा, फिर अगले साल उसने अंडर-19 कूच बिहार ट्रॉफी खेली और सेलेक्शन मैचों में बड़े स्कोर बनाए.

ज्वाला कहते हैं, 'मैंने उस पर बहुत मेहनत की, लेकिन मैं पूरा श्रेय नहीं लूंगा क्योंकि अनेक कोचों ने उस पर काम किया है. जब उसने अंडर-19 वर्ल्ड कप खेला तो मैं काफी उत्साहित था. अंडर-19 वर्ल्ड कप के लिए रवाना होने से पहले उसने अपना जन्मदिन मेरे साथ मनाया. लेकिन उसके बाद मैंने उसे नहीं देखा. वह 2017 था, हम 2024 में हैं.'

ज्वाला ने कहा, 'मुझे लगता है कि यदि आप प्रतिभाशाली हैं, तो टैलेंट सिर्फ एक बीज है. इसे एक पेड़ बनने के लिए निरंतरता बहुत महत्वपूर्ण है. यह निरंतरता आपकी जीवन शैली, आपकी कार्य नीति और अनुशासन से आती है. इसलिए मुझे लगता है कि यह निरंतरता उसके साथ नहीं है.'

ज्वाला ने आगे कहा, 'कोई भी व्यक्ति शानदार शुरुआत कर सकता है, जो उसने किया. लेकिन इंटरनेशनल क्रिकेट में टॉप पर बने रहने के लिए हर समय अपने खेल में सुधार करना पड़ता है. यहां तक कि सचिन तेंदुलकर ने भी अपने खेल को लगातार निखारा, अपनी फिटनेस पर काम किया.'

ज्वाला सिंह का मानना है कि एक खिलाड़ी तभी पटरी से उतरता है जब वह प्रोसेस से दूर हो जाता है. अगर आपकी प्रक्रिया और काम करने का तरीका सही है तो आप पीछे नहीं हटेंगे, इसलिए मुझे लगता है कि खिलाड़ी इसी वजह से असफल होते हैं.

ज्वाला ने यशस्वी जायसवाल को लेकर कहा, 'जहां तक ​​यशस्वी का सवाल है, उसकी वर्क एथिक्स शानदार है, वह वाकई कड़ी मेहनत करता है और उसे पता है कि क्या करना है. यही मुख्य अंतर है.'