हिमाचल प्रदेश में उफनती नदियों और लैंड स्लाइड से जानमाल का नुकसान होने की खबरें आ चुकी हैं.
पहाड़ी इलाकों में अक्सर तबाही की वजह बनने वाला यह फ्लैश फ्लड आखिर क्या है?
दरअसल, ये बाढ़ का वो टाइप है, जो एकदम से आता है. इसे प्लविअल फ्लड भी कहते हैं.
आमतौर पर मौसम विभाग या एक्सपर्ट इसकी भविष्यवाणी नहीं कर पाते हैं कि ये कब, कहां आएगा.
यह सिर्फ पहाड़ी जगहों पर नहीं आते, जहां भारी बारिश होती है, बल्कि सूखी जगहों पर भी इनके आने का डर रहता है.
असल में ये घटना तब होती है, जब जमीन पानी को सोख नहीं पाती. फ्लैश फ्लड उन इलाकों में भी दिखता है, जो सूखाग्रस्त रहे.
किसी जगह खूब बारिश हुई हो और लगातार होती रहे, तब जमीन अतिरिक्त पानी एब्जॉर्ब नहीं कर पाती. ऐसे में पानी बाढ़ की शक्ल ले लेता है.
ऐसी जगहों की जमीन बहुत सख्त हो चुकी होती है और बारिश होने पर पानी सूख नहीं पाता. तब जलस्तर बढ़कर तबाही मचाने लगता है.