प्रेमानंद महाराज ने बताया, इस दिन तुलसी दल तोड़ने से लगता है ब्रह्महत्या का पाप

1 May 2025

aajtak.in

सनातन धर्म में तुलसी के पौधे बहुत ही पूजनीय माना जाता है. कहते हैं कि जिस भी घर में तुलसी की पूजा की जाती है, उस घर में मां लक्ष्मी का वास होता है.

तुलसी के पौधे को मां लक्ष्मी का ही रूप माना जाता है. जिस घर में तुलसी का पौधा का होता है उस घर में बरकत बनी रहती है.

लेकिन, तुलसी के पौधे को घर में रखने और तुलसी दल को तोड़ने के कुछ नियम भी हैं. तो चलिए वृंदावन के प्रेमानंद महाराज से जानते हैं कि हफ्ते में किस दिन तुलसी दल को तोड़ना चाहिए.

प्रेमानंद महाराज के मुताबिक, तुलसी दल किसी भी महीने की द्वादशी तिथि को नहीं तोड़ना चाहिए. ऐसा करना बहुत ही अशुभ माना जाता है.

'द्वादशी तिथि को तुलसी दल तोड़ना बहुत अशुभ माना जाता है. इस दिन  तुलसी दल का स्पर्श भी न करें.'

'द्वादशी के दिन तुलसी दल तोड़ने से ब्रह्महत्या का पाप लगता है इसलिए तुलसी दल को उतारने की तिथि ठीक से निर्धारित करनी चाहिए.'

'इस दिन तुलसी के वृक्ष को दूर से प्रणाम-नमस्कार करें और भूल से भी दल टूटना नहीं चाहिए.'

आगे प्रेमानंद महाराज कहते हैं कि, 'हमने महापुरुषों से भी सुना है कि द्वादशी के दिन मंजरी और पत्र उतारना एकदम ठीक बात नहीं है.'