21 Sep 2024
AajTak.In
Getty Images
पितृपक्ष चल रहा है. इन पवित्र दिनों में पितरों का श्राद्ध और पिंडदान करने से पितरों की आत्मा को शांति मिलती है.
Getty Images
आपने लोगों को ये कहते सुना होगा कि मरने के बाद आदमी खाली हाथ जाता है. लेकिन हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार, मृतक अपने साथ 3 चीजें ले जाता है.
Getty Images
गीता में कहा गया है कि मनुष्य कर्म के बिना एक पल भी नहीं रह सकता है. मृत्यु करीब आने पर आत्मा शरीर द्वारा किए गए कर्मों की स्मृति को समेट लेती है.
इन्हीं कर्मों के आधार पर तय होता है कि परलोक में आत्मा सुख भोगेगी या दुख. और इन्हीं के परिणाम से अगले जन्म में अच्छा बुरा फल प्राप्त होता है.
Getty Images
गरुण पुराण के अुसार, इंसान द्वारा लिया गया किसी भी तरह का कर्ज जन्म-जन्मातर तक पीछा नहीं छोड़ता है. इसलिए मरने से पहले कर्ज चुका देना चाहिए.
जब कोई आदमी कर्ज लेकर मरता है तो परलोक में यम कर्जदाता का हिसाब चुकता करवाते हैं. या अगले जन्म में आपको इसका हिसाब चुकाना पड़ता है.
Getty Images
इसी तरह दान, दया और परोपकार का पुण्य भी कई जन्मों तक इंसान के साथ चलता है. यही सुकर्म तय करते हैं कि आप स्वर्ग में सुख भोगेंगे या नर्क में दुख.
Getty Images
यदि आपको बिना कोई अच्छा काम किए जीवन में सुख-संपन्नता मिले तो समझ लीजिए आपके पिछले जन्म के किसी अच्छे कर्म के बदले वो मिला है.
Getty Images