6 June 2025
aaajtak.in
इस संसार का सबसे बड़ा सत्य है मृत्यु. जिस किसी का भी जन्म हुआ है, उसकी मृत्यु निश्चित है. यह प्रकृति का अटल नियम है, जिसे स्वयं भगवान ने भी मनुष्य रूप में स्वीकार किया है.
जब-जब भगवान धरती पर अवतरित हुए, जीवन और मृत्यु के चक्र से गुजरे हैं. गरुड़ पुराण के अनुसार, जीवन के अंतिम क्षणों में मनुष्य को कुछ अजीब अनुभव होने लगते हैं.
कहा जाता है कि मृत्यु से कुछ दिन पहले ही व्यक्ति को इसकी आहट मिलने लगती है. तो आइए जानते हैं गरुड़ पुराण के अनुसार वे कौन-कौन से संकेत हैं, जो मृत्यु के आने से पहले मनुष्य को दिखाई देने लगते हैं.
मृत्यु के नजदीक व्यक्ति को अपने पूरे जीवन की घटनाएं याद आने लगती हैं. उसने कब पुण्य किया और कब पाप किया, इसका पूरा लेखा-जोखा उसकी आंखों के सामने घूमने लगता है.
अच्छे कर्म सुकून और संतोष की एहसास कराते हैं. बुरे कर्म डर और पछतावे से मन को भर देते हैं.
कहा जाता है कि मृत्यु के समय यमदूत व्यक्ति को यमदूत की मौजूदगी का ऐहसास होने लगता है. व्यक्ति को लगने लगता है कि कोई अदृश्य शक्ति उसके आस-पास मौजूद है.
माना जाता है कि रात के समय यह अनुभव और भी तीव्र हो जाता है, जिससे वह व्यक्ति डर और बेचैनी में घिर जाता है.
मृत्यु के नजदीक व्यक्ति को अपने पूर्वजों से जुड़े सपने लगातार दिखाई दे सकते हैं. सपनों में पितृ उसे अपने पास बुलाते हुए दिखाई दे सकते हैं.