05 Nov 2024
आज यानी 5 नवंबर से छठ महापर्व की शुरुआत हो गई है, लेकिन दिल्ली में यमुना का जो हाल है, वो चिंता में डालने वाला है. यमुना में तैरते जहरीले झाग ने छठ श्रद्धालुओं की परेशानी बढ़ा दी है.
प्रशासन की तरफ से यमुना के झाग कम करने के लिए एंटी-फोमिंग घोल का छिड़काव किया जा रहा है,लेकिन इसके बावजूद भी नदी में जहरीले झाग बने हुए हैं.
एक्सपर्ट्स की मानें तो यमुना में प्रदूषण का कारण रसायन और सीवेज हैं. फैक्ट्री से आने वाले रसायन और घरों से आने वाला सीवेज यमुना में झाग का मुख्य कारण है.
दिल्ली में 8 स्थानों पर यमुना के पानी के नमूनों का विश्लेषण किया गया, जिसमें सबसे ज्यादा प्रदूषित पानी आखिरी निगरानी स्टेशन अशगरपुर का है. वहीं, सबसे कम प्रदूषित पानी पल्ला का है, जहां से यमुना दिल्ली में प्रवेश करती है.
यमुना में सर्फेक्टेंट और फॉस्फेट रसायन की ज्यादा मात्रा पाई गई है, जिसकी वजह से नदी में झाग बन रहा है. ये दोनों ही केमिकल्स कारखानों से छोड़े जानें वाले पानी और घरों के सीवेज से निकलते हैं. यही कारण है कि यमुना सफेद जहरीले झाग से ढक चुकी है.