रतन राजपूत ने अपनी जिंदगी का एक डरावना सच फैंस संग साझा किया है.
रतन ने बताया जब वो पटना से दिल्ली वापस आई थीं, तब फैमिली में पहला फोन उन्होंने लिया था.
रतन मंडी हाउस ड्रामा की प्रैक्टिस के लिए जाती थीं. घर आते समय एक स्नैचर उनका फोन छीनकर भाग गया.
रतन ने स्नैचर का पीछा किया. उन्होंने एक शख्स से मदद मांगी. लेकिन शख्स रतन का हाथ पकड़कर घसीटने लगा.
शख्स रतन को घसीटते हुए जंगल की ओर ले जाने लगा. रतन को लगा अब वो नहीं बचेंगीं.
रतन मदद के लिए चिल्लाती रहीं, लेकिन लोग देखते रहे.
रतन बोलीं- मेरे साथ वही हो सकता था, जो मैं न्यूज में देखती हूं. मैं किसी गटर में फेंक दी गई होती, या मुझे मार दिया गया होता.
रतन ने कहा कि तबसे उनके मन में डर बैठ गया. उन्हें लगा- मैं लड़की हूं, मुझे संभलकर रहना होगा.