कभी आत्महत्या करने जा रही थीं ये 2 बच्चों की मां, आज हैं बड़ी अफसर
By Aajtak Education
01 May, 2023
मध्य प्रदेश में ज्वाइंट डायरेक्टर के पद पर तैनात सविता प्रधान की कहानी कोई आम सक्सेस स्टोरी भर नहीं है. aajtak.in से बातचीत में उन्होंने अपनी कहानी साझा की.
प्रदेश के बालाघाट जिले के मंडई गांव की सविता अपने गांव में 10वीं पास करने वाली वह पहली लड़की थीं. 12वीं की परीक्षा से पहले ही उनकी शादी कर दी गई.
शादी के बाद से ही उन्हें घर के कामों में झोंक दिया गया. जल्दी ही पति ने मारपीट भी शुरू कर दी.
उन्हें खाना भी तभी मिलता था जब सबसे खाने के बाद बच जाए. ऐसे में वे अपने कपड़ों में कुछ रोटियां छिपा लेती थीं जिन्हें बाथरूम में छिपकर खाती थीं.
एक समय तंग आकर उन्होंने आत्महत्या करने का मन बनाया, मगर उन्हें एहसास हुआ कि भला मैं इन लोगों के लिए क्यूं मरूं.
इसके बाद उन्होंने घर छोड़ दिया और भोपाल चली आईं. यहां उन्होंने ब्यूटी पार्लर का काम किया और ट्यूशन पढ़ाकर दोनों बेटों को पाला.
2004 में उन्होंने मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग की परीक्षा दी और पहले अटेम्प्ट में ही नौकरी पाकर एक मिसाल कायम की.